Harshita Soni News, The family of minor daughter Harshita, who has been missing for four and a half months in Haryana’s Hisar district, is traveling on foot to Chandigarh. The victim’s father Sunil Soni, his wife and two minor sons are included in this yatra.
हिसार: हरियाणा के हिसार जिले में साढ़े चार महीने से लापता नाबालिग बेटी हर्षिता की तलाश में उसका परिवार चंडीगढ़ के लिए पैदल यात्रा कर रहा है। पीड़ित पिता सुनील सोनी, उनकी पत्नी और दो नाबालिग बेटे इस यात्रा में शामिल हैं। यह परिवार बरवाला, उकलाना, जींद, कैथल, कुरुक्षेत्र और अंबाला होते हुए चंडीगढ़ पहुंचेगा। फिलहाल, यह लोग उकलाना के सूरेवाला चौक से आगे बढ़ चुके हैं और अपनी बेटी को खोजने के लिए प्रशासन से गुहार लगा रहे हैं।
लापता हर्षिता की दादी का बड़ा खुलासा
इस मामले में हर्षिता की दादी ने सोशल मीडिया पर एक चौंकाने वाला बयान दिया है। उन्होंने हर्षिता के पिता और सौतेली मां पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि हर्षिता के साथ घर में गलत व्यवहार किया जाता था और उसे प्रताड़ित किया जाता था। दादी के इस खुलासे के बाद मामला और पेचीदा हो गया है।
दादी ने बताया कि हर्षिता को उसके पिता और सौतेली मां अक्सर पीटा करते थे और उसे घर में सुरक्षित महसूस नहीं होता था। उन्होंने कहा कि जब से उसकी मां का निधन हुआ, हर्षिता के लिए हालात और बिगड़ते गए। परिवार में कलह बढ़ती गई और उसे अक्सर घर से बाहर भी निकाला जाता था।पुलिस की जांच और इनाम की घोषणा
परिवार का संघर्ष और प्रशासन से उम्मीद
हर्षिता के लापता होने के मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस ने उसकी खोजबीन तेज कर दी है। प्रशासन ने हर्षिता की जानकारी देने वाले को ₹2 लाख का इनाम देने की घोषणा की है। पुलिस का कहना है कि वे इस मामले की हर एंगल से जांच कर रहे हैं और जल्द से जल्द हर्षिता को खोज निकालने का प्रयास कर रहे हैं।
हिसार पुलिस ने इस मामले में कई लोगों से पूछताछ की है और कुछ सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले हैं, लेकिन अभी तक कोई ठोस सुराग हाथ नहीं लगा है। पुलिस का कहना है कि परिवार की ओर से दी गई जानकारी और दादी के खुलासे को ध्यान में रखते हुए जांच को आगे बढ़ाया जा रहा है।
परिवार का संघर्ष और प्रशासन से उम्मीद
हर्षिता के पिता सुनील सोनी और उनके परिवार ने अपनी बेटी की तलाश के लिए हरसंभव प्रयास किया है, लेकिन अब तक कोई सफलता नहीं मिली है। इसी वजह से उन्होंने चंडीगढ़ के लिए पैदल कूच करने का फैसला किया, ताकि वहां के उच्च अधिकारियों तक उनकी बात पहुंचे और जांच में तेजी आए।
परिवार का कहना है कि वे जब तक हर्षिता नहीं मिल जाती, तब तक संघर्ष जारी रखेंगे। उन्होंने प्रशासन से अपील की है कि उनकी बेटी को जल्द से जल्द ढूंढा जाए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।
समाज में बढ़ती घटनाओं पर चिंता
यह मामला केवल एक परिवार का दुख नहीं, बल्कि समाज के लिए भी एक चेतावनी है। देशभर में नाबालिग बच्चों के लापता होने के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। इस तरह की घटनाओं से न केवल पीड़ित परिवारों की तकलीफ बढ़ती है, बल्कि समाज में डर और असुरक्षा की भावना भी जन्म लेती है।
सरकार और प्रशासन को चाहिए कि वे इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कानून बनाएं और प्रभावी कार्रवाई करें। साथ ही, समाज को भी सतर्क रहना होगा और अगर किसी भी परिवार में बच्चों के साथ अत्याचार हो रहा हो, तो उसकी सूचना तुरंत प्रशासन को दी जानी चाहिए।
आगे की राह
अब सबकी निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि हर्षिता कहां है और क्या वह सुरक्षित है। पुलिस और प्रशासन पूरी कोशिश कर रहे हैं कि उसे जल्द सेजल्द खोजा जाए।